नई दिल्ली : दिल्ली में आम आदमी पार्टी के 21 विधायकों के
संसदीय सचिव बनने पर लाभ के पद के आरोप में चुनाव आयोग आज सुनवाई फिर टल गई
है। अगली सुनवाई 29 अगस्त होगी।
इससे पहले इस मामले की तीन बार बार सुनवाई
हो चुकी है, जिसमें कांग्रेस, बीजेपी और दिल्ली सरकार ने आयोग को बताया कि
आखिर क्यों उनको इस मामले में पार्टी बनाया जाना चाहिए? लेकिन आयोग ने इन
तीनों की मांग को खारिज कर दिया था, जिससे अब याचिकाकर्ता और 21 विधायक
आमने-सामने होंगे।
वहीं इस दौरान चुनाव आयोग ने पिछली सुनवाई के आदेश को सुरक्षित रख लिया था जिस पर फैसला अब 29 अगस्त को आएगा। पिछली सुनवाई में आप विधायकों ने आयोग को बताया था कि आखिर कैसे उनकी संसदीय सचिव के पद हुई नियुक्ति लाभ के पद के दायरे में नहीं आती और क्यों उनकी विधायकी रद्द न की जाए।
हालांकि आप विधायकों की मुश्किलें पहले ही बढ़ी हुई हैं क्योंकि राष्ट्रपति उस बिल को पहले ही लौटा चुके हैं, जिसके जरिए दिल्ली सरकार 21 संसदीय सचिव के पद को लाभ के पद के दायरे से बाहर निकालने का प्रयास कर रही थी, लेकिन अब चुनाव आयोग को तय करना है कि यह 21 विधायक लाभ के पद पर हैं या नहीं।

वहीं इस दौरान चुनाव आयोग ने पिछली सुनवाई के आदेश को सुरक्षित रख लिया था जिस पर फैसला अब 29 अगस्त को आएगा। पिछली सुनवाई में आप विधायकों ने आयोग को बताया था कि आखिर कैसे उनकी संसदीय सचिव के पद हुई नियुक्ति लाभ के पद के दायरे में नहीं आती और क्यों उनकी विधायकी रद्द न की जाए।
हालांकि आप विधायकों की मुश्किलें पहले ही बढ़ी हुई हैं क्योंकि राष्ट्रपति उस बिल को पहले ही लौटा चुके हैं, जिसके जरिए दिल्ली सरकार 21 संसदीय सचिव के पद को लाभ के पद के दायरे से बाहर निकालने का प्रयास कर रही थी, लेकिन अब चुनाव आयोग को तय करना है कि यह 21 विधायक लाभ के पद पर हैं या नहीं।
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